A School For Divyangs - A Hope For Many

Bharat Mahan

डॉ दीक्षित ने 27 वर्ष पूर्व शहर के दिव्यांग बच्चों के हुनर के चर्चे सुने तो उन्हें और निखारने के लिए बिठूर कला में विद्यालय की स्थापना की। ज्योति बालक विकास संस्था के बैनर तले वर्ष 1990 में जब विद्यालय शुरू हुआ तो सिर्फ दो दिव्यांग बच्चे आए पर आज विद्यालय में प्री- प्राइमरी से इंटरमीडिएट तक के बच्चों की संख्या करीब 180 है। विद्यालय में पढ़ाई संग ये दिव्यांग बच्चे गीत-संगीत सीखते हैं। विविध खेलों में प्रदर्शन कर लोगों का दिल भी जीत चुके हैं।

जागरण में इसके विषय में और पढ़े....

News Source
Jagran.com

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