‘सरकार की सबसे बड़ी उपलब्धि लोगों की मानसिकता में बदलाव लाना और इस बात का भरोसा मन में बिठा देना है कि भारत अच्छे के लिए बदल सकता है’_ पीयूष गोयल
श्री गोयल ने अपने सिंगापुर यात्रा के दौरान श्री थॉरमन शनमुगरतम के साथ द्विपक्षीय संबंधों और आपसी हित के क्षेत्रीय एवं वैश्विक मुद्दों पर चर्चा की
केंद्रीय ऊर्जा, कोयला और नवीन एवं नवीकरणीय ऊर्जा राज्यमंत्री स्वतंत्र प्रभार श्री पीयूष गोयल ने आज सिंगापुर का दौरा किया। सिंगापुर के मरीना बे सैंड्स एक्सपो एंड कन्वेंशन सेंटर में ड्यूश बैंक डीबीएकसेस एशिया सम्मेलन 2016 के दौरान मुख्य भाषण देते हुए श्री गोयल ने कहा कि सरकार की सबसे बड़ी उपलब्धि लोगों की मानसिकता में बदलाव लाना और इस बात का भरोसा मन में बिठा देना है कि भारत अच्छे के लिए बदल सकता है। उन्होंने कहा कि निराशावाद और उदासी की जगह आशावाद, भरोसे और आत्मविश्वास ने ले ली है।
अपने संबोधन के दौरान श्री पीयूष गोयल ने पिछले दो साल के दौरान प्रधानमंत्री श्री नरेन्द्र मोदी की अगुवाई वाली सरकार की उपलब्धियों पर एक प्रस्तुति भी दी। उन्होंने बताया कि ऊर्जा की उपलब्धता में सुधार, नवीकरणीय ऊर्जा को तेजी से बढ़ाने, नवीकरणीय ऊर्जा को ग्रिड में एकीकृत करने, ग्रिड की स्थिरता बढ़ाने और भारतीय बाजार में अप्रयुक्त मांग द्वारा उपलब्ध विशाल अवसर के लिए सरकार द्वारा कई कदम उठाए गए हैं। उन्होंने ऊर्जा उपलब्धता हासिल करने और ऊर्जा दक्षता बढ़ाने के लिए एलईडी जैसे कार्यक्रमों, राष्ट्रीय सौर मिशन एवं उदय (उज्जवल डिस्कॉम एश्योरेंस योजना) कार्यक्रम के लिए उठाए गए कदमों रेखांकित किया। उन्होंने शिक्षा, स्वास्थ्य, आधारभूत ढांचे के विकास, उद्योग एवं कृषि और लोगों के सशक्तिकरण जैसे क्षेत्रों में उठाए गए कदमों को भी रेखांकित किया तथा कहा कि भारत जल्द ही दोहरी अंक वाली विकास दर को हासिल कर लेगा।
सिंगापुर के उपप्रधानमंत्री और आर्थिक एवं सामाजिक नीतियों के समन्वयक मंत्री श्री थॉरमन शनमुगरतम ने केंद्रीय मंत्री के लिए दोपहर के भोज का भी आयोजन किया। दोनों नेताओं ने द्विपक्षीय संबंधों और आपसी हित के क्षेत्रीय एवं वैश्विक मुद्दों पर चर्चा की।
श्री गोयल ने भारत-सिंगापुर ऊर्जा तकनीक एवं निवेशक सम्मेलन में भी मुख्य भाषण दिया। इस सम्मेलन का आयोजन सिंगापुर में भारतीय उच्चायोग, फिक्की, सिंगापुर मैन्यूफैक्चरिंग फेडरेशन (एसएमएफ) और द इंस्टीट्यूट ऑफ साउथ एशियन स्टडीज (आईएसएएस) ने मिलकर किया था।
श्री गोयल के साथ एक आधिकारिक प्रतिनिधिमंडल भी गया था, जिसमें खादी एवं ग्रामीण उद्योग आयोग (केवीआईसी) के चेयरमैन, ऊर्जा मंत्रालय के संयुक्त सचिव और अन्य अधिकारी मौजूद थे। इसके अलावा फिक्की अध्यक्ष की अगुवाई में एक व्यापारिक प्रतिनिधिमंडल भी सिंगापुर गया था।